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संवेगात्मक विकास अर्थ एवं परिभाषा | Emotional Development Meaning Definition | संवेग का अर्थ Meaning of Emotion | संवेग का परिभाषा Definition Of Emotion

संवेगात्मक विकास 

(Emotional Development) 


संवेगात्मक विकास 

(Emotional Development)
 

प्रत्येक व्यक्ति अपने जीवन में समय-समय पर क्रोध, भय, हर्ष, घृणा, प्रेम, वासना क्षोभ आदि का अनुभव करता है. इन्हें संवेग कहते हैं। मानव जीवन में संवेगो अत्यधिक महत्वपूर्ण स्थान है। मनुष्य को संवेगों के द्वारा विभिन्न कार्यों को करने की प्रेरणा तथा शाक्ति  मिलती है। संवेगों के उदय होने पर व्यक्ति में अतिरिक्त शक्ति का संचार होता है तथा वह ऐसे-ऐसे कार्य कर दिखाता है जो सामान्य स्थिति में उसके लिए सम्भव  प्रतीत नहीं होते हैं । भय की स्थिति में व्यक्ति कभी-कभी ऊँचे-नीचे गड्ढों तथा नालों को लाँघ जाता है। क्रोध की स्थिति में कभी-कभी व्यक्ति अपने से शक्तिशाली व्यक्ति को परास्त कर देता है। संवेगों का सम्बन्ध व्यक्ति के जीवन के भावात्मक पक्ष से  होता है। सुखद वस्तु को देखकर प्रसन्न होना, डरावनी वस्तु को देखकर डर जाना, इच्छा के विपरीत कार्य होने पर क्रोधित होना, खराब वस्तु को देखकर घृणा आना तथा दूसरों को अभावग्रस्त देखकर दया आना आदि संवेगात्मक स्थिति के कुछ उदाहरण है। संवेगों के उत्पन्न होने पर व्यक्ति की मानसिक तथा शारीरिक स्थिति में परिवर्तन आ जाता है। संवेग वास्तव में मानसिक उपद्रव (Mental Disturbance) की अवस्था होती है, जिसमें व्यक्ति सामान्य स्थिति में नहीं रहता है। संवेगात्मक स्थिति में वुद्धि व विवेक का व्यक्ति के व्यवहार पर अंकुश नहीं रह जाता है तथा उसे उचित-अनुचित का ज्ञान नहीं हो पाता है। एक ओर जहाँ संवेगों की सहायता से व्यक्ति साहसिक तथा प्रशंसनीय कार्य करता है, वहीं दूसरी ओर संवेगों के वशीभूत होकर वह पशूवत निंदनीय व्यवहार कर जाता है। क्रोध में व्यक्ति माता-पिता अथवा अध्यापकों के साथ अभद्र व्यवहार कर जाता है। काम वासना के वशीभूत होकर व्यक्ति नीच कार्य कर बैठता है। संवेग वास्तव में व्यक्ति को उत्तेजित करते हैं तथा उस उत्तेजना में व्यक्ति प्रशंसनीय तथा निंदनीय दोनो ही प्रकार के कार्य करता है । संवेग मानव के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है |

 

 

संवेग का अर्थ 
Meaning of Emotion


 संवेग शब्द का शाब्दिक अर्थ है-वेग से युक्त अर्थात् जब व्यक्ति वेगवान होकर कार्य करता है तो उसे संवेग कहते हैं । अंग्रेजी भाषा में संवेग को इमोशन ( Emotion) कहते हैं । 'इ' (E) का अर्थ है-अंदर से तथा 'मोशन' (Motion) का अर्थ है गति | अतः इमोशन का अर्थ है-आन्तरिक भावों को बाहर की ओर गति देना । दसरे शब्दों में  कहा जा सकता है कि संवेग आन्तरिक भावो का बाह्य प्रकाशन है। संवेग वास्तव में  भावों का तीव्र होना है। 

संवेग का परिभाषा 
 Deffenition Of Emotion


वूडवर्थ  के शब्दों में-

"संवेग आवेश में आने की स्थिति है।

" lotion is a ‘moved' or 'stirred-up' state of the individual. 
-Woodworth 
 
पीoटीo यंग  के अनुसार-

“संवेग मनोवैज्ञानिक कारणों से उत्पन्न व्यक्ति का तीब्र उपद्रव है जिसके अंतर्गत  व्यवहार, चेतन अनुभव तथा अंतरंग क्रियायें सम्मिलित रहती है |

motion is an acute disturbance of the individual as a whole. psychological in origin, involving behaviour, conscious experience and visceral functioning. 

-P.T.Young 


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