BIHAR D.El.Ed 2nd YEAR PAPER S5 विद्यालय में स्वस्थ्य योग एवं शारीरिक शिक्षा PREVIOUS YEAR QUESTION PAPER
Vidyalay mein swasthya yog avn sharirik shiksha
| TOPIC | विद्यालय में स्वस्थ्य योग एवं शारीरिक शिक्षा 2025 का प्रश्न पत्र | 
| TOPIC | |
| SUBJECT CODE | S-5 | 
| COURSE | BIHAR D.El.Ed 2nd Year | 
विद्यालय में स्वस्थ्य योग एवं शारीरिक शिक्षा 2025 QUESTION PAPER
S5 विद्यालय में स्वस्थ्य योग एवं शारीरिक शिक्षा previous Year Question paper
खण्ड - क / Section - A
लघु उत्तरीय प्रश्न / Short Answer Type Questions
प्रत्येक प्रश्न का उत्तर देना अनिवार्य है :
It is compulsory to answer each question:
1. शारीरिक शिक्षा का अर्थ एवं परिभाषा लिखिए । प्राथमिक विद्यालयों में शारीरिक शिक्षा क्यों महत्वपूर्ण है, उसका वर्णन कीजिए । - 5
Write the meaning and definition of physical education. Describe why physical education is important in primary schools.
अथवा / OR
प्रारंभिक शिक्षा में स्वस्थ जीवन शैली को बढ़ावा देने में शारीरिक शिक्षा क्या भूमिका निभाती है ?
What role does physical education play in promoting a healthy lifestyle in elementary education?
(02) स्वास्थ्य संचार मॉडल क्या है ? -5
What is health communication model?
अथवा / OR
पारंपरिक सूर्य नमस्कार क्रम में कितने आसन होते हैं ? क्रमशः सभी आसनों के नाम लिखिए एवं उससे शरीर को होनेवाले लाभ के बारे में लिखिए ।
How many Asanas are there in Surya Namaskar sequence ? Write the names of all the Asanas in sequence and write about the benefits provided to the body by it.
(03) संक्रामक रोग क्या होता है तथा इसे हम कैसे नियंत्रित कर सकते हैं ?
What is infectious disease and how can we control it ?
अथवा / OR
स्वास्थ्य एवं शारीरिक शिक्षा के उद्देश्यों की व्याख्या कीजिए ।
Explain the objectives of health and physical education.
(04) शारीरिक शिक्षा के माध्यम से बच्चों में कौन से प्रमुख कौशल विकसित होते हैं ? -5
What are the key skills developed in children through physical education ?
अथवा / OR
स्वच्छता का अर्थ एवं प्रकार लिखिए तथा विद्यालय में स्वच्छता के महत्व के बारे में वर्णन करें ।
Write the meaning and types of cleanliness (hygiene) and describe the importance of cleanliness in school.
(05) छात्रों में स्वस्थ खान-पान की आदतों को बढ़ावा देने के लिए विद्यालय कौन सी रणनीतियाँ लागू कर सकते हैं ? -5
What strategies can school implement to promote healthy eating habits among students?
अथवा / OR विद्यालय के शिक्षकों एवं बच्चों द्वारा स्वास्थ्य जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन कैसे होगा ? व्याख्या करें ।
How will the health awareness programme be conducted by teachers and children of school?
(06) मोंच तथा खिंचाव क्या हैं ? इनके कारणों तथा लक्षण को संक्षेप में लिखें ।
What are sprain and strain ? Briefly write its causes and symptoms.
अथवा / OR
पोषण तथा कुपोषण से आप क्या समझते हैं ?
What do you understand by nutrition and malnutrition?
खण्डं - ख / Section - B
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न / Long Answer Type Questions
किसी एक प्रश्न का उत्तर लगभग 200 से 250 शब्दों में दें।
Answer any one question in approximately 200 to 250 words.
(07) अपने स्थानीय क्षेत्र में खेले जानेवाले रोचक खेलों की सूची बनाइये । किन्हीं दो स्थानीय खेलों के नियम एवं प्रक्रिया का वर्णन कीजिए । -10
Make a list of interesting games played in your local area. Describe the rules and procedure of any two local games.
(08) निम्नांकित में से किन्हीं दो पर टिप्पणी लिखें : 2 × 5 = 10
(क) शाट-पुट थ्रो
(ख) लांग जम्प
(ग) संज्ञानात्मक स्वास्थ्य
(घ) खेलो इंडिया यूथ गेम्स ।
Write notes on any two of the following:
(a) Shotput throw
(b) Long jump
(c) Cognitive health
(c) Cognitive health
(c) Cognitive health
(d) Khelo India Youth Games.
BIHAR D.El.Ed 2nd YEAR PAPER S5 विद्यालय में स्वस्थ्य योग एवं शारीरिक शिक्षा previous Year Question paper Solution
BIHAR D.El.Ed 2nd YEAR PAPER S5 विद्यालय में स्वस्थ्य योग एवं शारीरिक शिक्षा MODEL PAPER SOLUTION
प्रश्न 1. शारीरिक शिक्षा का अर्थ एवं परिभाषा लिखिए । प्राथमिक विद्यालयों में शारीरिक शिक्षा क्यों महत्वपूर्ण है, उसका वर्णन कीजिए । - 2025
भूमिका -
शारीरिक शिक्षा एक ऐसा विषय है जो बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए बेहद ज़रूरी है। यह सिर्फ खेलकूद तक ही सीमित नहीं है, बल्कि यह शरीर, मन और आत्मा के संपूर्ण विकास पर केंद्रित है। प्राथमिक विद्यालयों में, जहाँ बच्चों की नींव बनती है, शारीरिक शिक्षा का महत्व और भी बढ़ जाता है। आइए, इसके अर्थ, परिभाषा और प्राथमिक कक्षाओं में इसकी आवश्यकता को समझते हैं।
शारीरिक शिक्षा का अर्थ
शारीरिक शिक्षा का अर्थ है, वह शिक्षा जो शारीरिक गतिविधियों के माध्यम से व्यक्ति के संपूर्ण व्यक्तित्व के विकास पर केंद्रित हो। यह केवल शारीरिक फिटनेस तक सीमित नहीं है, बल्कि इसमें मानसिक, भावनात्मक और सामाजिक विकास भी शामिल है। यह बच्चों को खेल और व्यायाम के माध्यम से स्वास्थ्य के प्रति जागरूक बनाती है और उन्हें अनुशासित जीवन जीना सिखाती है।
शारीरिक शिक्षा की परिभाषाएँ
विभिन्न विद्वानों ने शारीरिक शिक्षा को अलग-अलग तरह से परिभाषित किया है:
- जे.पी. थॉमस के अनुसार: "शारीरिक शिक्षा, शारीरिक क्रियाकलापों द्वारा बच्चों के संपूर्ण व्यक्तित्व के विकास, उसकी पूर्णता और शरीर, मन तथा आत्मा में उसके परिष्कार के लिए दी जाने वाली शिक्षा है।"
 - कैसिडी के अनुसार: "शारीरिक शिक्षा मोटर गतिविधियों के केंद्र में अनुभवों के कारण व्यक्ति में होने वाले परिवर्तनों का योग है।"
 - बैरन के अनुसार: "शारीरिक शिक्षा को मानव गतिविधि के माध्यम से और उसके माध्यम से एक शिक्षा के रूप में परिभाषित किया गया है, जहाँ खेल, जिमनास्टिक, नृत्य और व्यायाम से जुड़ी बड़ी मांसपेशियों की गतिविधियों के माध्यम से कई शैक्षिक उद्देश्यों को प्राप्त किया जाता है।"
 
प्राथमिक विद्यालयों में शारीरिक शिक्षा का महत्व
प्राथमिक विद्यालय बच्चों के भविष्य की नींव रखते हैं, और शारीरिक शिक्षा इस नींव को मज़बूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है:
- शारीरिक विकास: यह बच्चों की मांसपेशियों, हड्डियों और समग्र शारीरिक संरचना को मज़बूत करती है। खेल-कूद से उनकी शारीरिक क्षमता और सहनशक्ति बढ़ती है।
 - मानसिक विकास: शारीरिक गतिविधियाँ मस्तिष्क के विकास को बढ़ावा देती हैं। इससे बच्चों की एकाग्रता और समस्या-समाधान की क्षमता में सुधार होता है, जिससे वे पढ़ाई में भी बेहतर प्रदर्शन करते हैं।
 - सामाजिक और भावनात्मक विकास: खेल के मैदान में बच्चे टीम वर्क, सहयोग और अनुशासन जैसे महत्वपूर्ण सामाजिक कौशल सीखते हैं। वे अपनी भावनाओं को नियंत्रित करना और हार-जीत को स्वीकार करना भी सीखते हैं।
 - आत्म-विश्वास में वृद्धि: शारीरिक शिक्षा में सफलता बच्चों में आत्मविश्वास की भावना पैदा करती है। जब वे कोई कौशल सीखते हैं या खेल में अच्छा प्रदर्शन करते हैं, तो उन्हें अपनी क्षमताओं पर गर्व महसूस होता है।
 - स्वस्थ आदतें: यह बच्चों को आजीवन स्वस्थ आदतों का महत्व सिखाती है, जैसे कि नियमित व्यायाम और स्वस्थ आहार। इससे वे भविष्य में कई बीमारियों से बच सकते हैं।
 - तनाव से मुक्ति: खेल-कूद बच्चों के लिए तनाव दूर करने का एक बेहतरीन तरीका है। यह उन्हें पढ़ाई के बोझ से कुछ समय के लिए राहत देता है और उनके मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाता है।
 
निष्कर्ष
शारीरिक शिक्षा प्राथमिक विद्यालय के बच्चों के लिए एक अनिवार्य घटक है। यह सिर्फ एक विषय नहीं है, बल्कि यह उनके शारीरिक, मानसिक, सामाजिक और भावनात्मक विकास का एक अभिन्न अंग है। एक शिक्षक के रूप में, हमें यह सुनिश्चित करना चाहिए कि हर बच्चे को शारीरिक शिक्षा का लाभ मिले, ताकि वह एक स्वस्थ और संतुलित जीवन जी सके।
प्रश्न.1 प्रारंभिक शिक्षा में स्वस्थ जीवन शैली को बढ़ावा देने में शारीरिक शिक्षा क्या भूमिका निभाती है ?-2025
- (A) भूमिका
 - (B) स्वस्थ जीवन शैली को बढ़ावा देने में शारीरिक शिक्षा की प्रमुख भूमिकाएँ
 - (C) शिक्षकों और विद्यालयों के लिए व्यावहारिक रणनीतियाँ
 - (D) कक्षा-स्तर पर उदाहरण गतिविधियाँ (प्रारंभिक)
 - (E) मूल्यांकन एवं निगरानी
 - (F) अभिभावक के लिए छोटे सुझाव
 - (G) निष्कर्ष
 
शारीरिक शिक्षा (Physical Education) का अर्थ है योजनाबद्ध तथा शिक्षण-आधारित शारीरिक गतिविधियाँ जो बच्चों के शारीरिक, मानसिक और सामाजिक विकास को सुदृढ़ करती हैं। प्रारंभिक शिक्षा में इसका उद्देश्य केवल व्यायाम नहीं, बल्कि दैनिक जीवन के स्वस्थ आदतों, खेल-कौशल, टीमवर्क और सुरक्षित व्यवहार का विकास भी है।
(B) स्वस्थ जीवन शैली को बढ़ावा देने में शारीरिक शिक्षा की प्रमुख भूमिकाएँ
- शारीरिक स्वास्थ्य: हृदय-स्वास्थ्य, मांसपेशी विकास, लचीलापन और समन्वय में सुधार।
 - मानसिक व भावनात्मक लाभ: तनाव कम होना, आत्मविश्वास में वृद्धि, और एकाग्रता का सुधार।
 - सामाजिक कौशल: टीमवर्क, नियमों का पालन, सहानुभूति और संवाद कौशल का विकास।
 - स्वस्थ आदतों का गठन: नियमित व्यायाम, संतुलित आहार, व्यक्तिगत स्वच्छता और पर्याप्त नींद की आदतें सिखाना।
 - शैक्षिक लाभ: सक्रिय बच्चों की सीखने की क्षमता और कक्षा में ध्यान बेहतर होता है।
 
(C) शिक्षकों और विद्यालयों के लिए व्यावहारिक रणनीतियाँ
- दैनिक सक्रियता के छोटे सत्र: 10–15 मिनट के ब्रेक-एक्टिविटी (स्ट्रेचिंग, छोटे खेल) दिनचर्या में शामिल करें।
 - क्रीड़ा आधारित शिक्षण: खेलों के माध्यम से गणना, भाषा और सामाजिक विषयों को जोड़ें — उदाहरण: गेंद के साथ वर्णमाला खेल।
 - स्वस्थ्य शिक्षा का एकीकरण: पोषण, पानी पीना, दांत-सफाई जैसे व्यवहारों को विषयों में जोड़ें।
 - सुरक्षा और समावेशन: सभी बच्चों के लिए सुरक्षित उपकरण, छोटे-छोटे लक्ष्य और विविधता के अनुसार संशोधित गतिविधियाँ रखें।
 - अभिभावक सहभागिता: गृह-कार्य के रूप में परिवार के साथ साप्ताहिक चलना/खेल को बढ़ावा दें और नियमित रिपोर्ट साझा करें।
 
(D) कक्षा-स्तर पर उदाहरण गतिविधियाँ (प्रारंभिक)
| दिन | गतिविधि | लक्ष्य | 
|---|---|---|
| सोमवार | स्नैप-एक्सरसाइज (10 मिनट) + सरल दौड़ | सामान्य व्यायाम और सहनशक्ति | 
| बुधवार | बैलेंस और समन्वय खेल (स्टोन-हॉप, रिंग-थ्रो) | समन्वय व संतुलन | 
| शुक्रवार | टीम गेम (छोटे-छोटे टीम-बेस्ड खेल) | सहयोग और नियम पालन | 
(E) मूल्यांकन एवं निगरानी
बच्चों की प्रगति का आकलन केवल खेल-कौशल तक सीमित न रखें। ऊर्जा स्तर, कक्षा में ध्यान, आत्म-देखभाल आदतें और सामाजिक सहभागिता जैसे सूचक भी रिकॉर्ड करें। सरल चेकलिस्ट और फोटो/वीडियो (अनुमति के साथ) से परिवर्तन दिखाना उपयोगी होता है।
(F) अभिभावक के लिए छोटे सुझाव
- बच्चों के साथ रोज़ 20 मिनट सक्रिय समय बिताएँ (चलना, खेलना)।
 - रोज़ का नाश्ता संतुलित रखें — फल, दुध/दही और साबुत अनाज शामिल करें।
 - स्क्रीन-समय पर सीमा रखें और सोने का नियमित समय निर्धारित करें।
 
(02) प्रश्न - स्वास्थ्य संचार मॉडल क्या है ? -2025
अथवा / OR
(02) प्रश्न - पारंपरिक सूर्य नमस्कार क्रम में कितने आसन होते हैं ? क्रमशः सभी आसनों के नाम लिखिए एवं उससे शरीर को होनेवाले लाभ के बारे में लिखिए ।-2025
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