Type Here to Get Search Results !

SALA WORD KI PURI JANKARI || साला शब्द की रोचक जानकारी || धर्मपत्नी के भाई को साला क्यों कहा जाता हैं

https://www.blogger.com/blogger.g?blogID=1367417673553749741#editor/target=post;postID=3839783428240663625
साला शब्द की रोचक जानकारी
साला" शब्द की रोचक एवं महत्वपूर्ण जानकारी हम प्रचलन की बोलचाल में साला शब्द को एक "गाली" के रूप में देखते हैं, साथ ही धर्मपत्नी के भाई/भाइयों को भी साला ,सालेसाहब के नाम से इंगित करते हैं।साला शब्द पौराणिक कथाओं से सम्बन्धित है | पौराणिक कथा इस प्रकार है - पौराणिक कथाओं में से एक समुद्र मंथन में हमें साला शब्द का जिक्र मिलता है, मंथन से जो 14 दिव्य रत्न प्राप्त हुए थे वो थे:- 14 दिव्य रत्न - कालकूट (हलाहल), ऐरावत, कामधेनु, उच्चैःश्रवा, कौस्तुभमणि, कल्पवृक्ष, रंभा (अप्सरा), लक्ष्मी, शंख (जिसका नाम साला था!) वारुणी मदिरा, चन्द्रमा, शारंग धनुष, गंधर्व, और अंत में अमृत. "लक्ष्मीजी" मंथन से "स्वर्ण" के रूप में निकली थी, इसके बाद जब "साला शंख" निकला, तो उसे लक्ष्मी जी का भाई कहा गया! दैत्य और दानवों ने कहा कि अब देखो लक्ष्मी जी का भाई साला (शंख) आया है.. तभी से ये प्रचलन में आया कि नवविवाहिता "बहु" या धर्मपत्नी जिसे हम "गृहलक्ष्मी" भी कहते है, उसके भाई को बहुत ही पवित्र नाम "साला" कहकर पुकारा जाता हैं! समुद्र मंथन के दौरान "पांचजन्य साला शंख" प्रकट हुआl इसे भगवान विष्णु ने अपने पास रख लियाl इस शंख को "विजय का प्रतीक" माना गया है, साथ ही इसकी ध्वनि को भी बहुत ही शुभ माना गया हैl विष्णु पुराण के अनुसार माता लक्ष्मी समुद्रराज की पुत्री हैं तथा शंख उनका सहोदर भाई है। अतः यह भी मान्यता है कि जहाँ शंख है, वहीं लक्ष्मी का वास होता है। इन्हीं कारणों से हिन्दुओं द्वारा पूजा के दौरान शंख को बजाया जाता हैl जब भी धन-प्राप्ति के उपाय करो "शंख" को कभी नजर अंदाज ना करे, लक्ष्मी जी की फ़ोटो/प्रतिमा के नजदीक रखें। जब भी किसी जातक का साला या जातिका का भाई खुश होता है तो ये उनके यहाँ धन आगमन का शुभ सूचक होता है और इसके विपरीत साले से संबंध बिगाड़ने पर जातक घोर दरिद्रता का जीवन जीने लगता है।

Post a Comment

0 Comments
* Please Don't Spam Here. All the Comments are Reviewed by Admin.

Top Post Ad

Below Post Ad